अब्बासी के नेपाल दौरे को लेकर भारत की चिंता बढ़ी

0
576
KATHMANDU, MAR 05: Prime Minister Shahid Khaqan Abbasi shaking hand with Prime Minister of Nepal Khadga Prasad Sharma Oli, on Monday.=DNA PHOTO

ज्ञानप्रकाश
नई दिल्ली पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शाहिद खक्कन अब्बासी के नेतृत्व में 32 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल के कल से शुरु हुए दो दिवसीय नेपाल दौरे से भारत की चिंता बढ़ा दी है।
श्री अब्बासी को आधिकारिक दौरा पर बुलाकर नेपाल के प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली ने भारतीय कूटनीति के समक्ष बड़ी चुनौती पेश कर दी है। यह संभवत: पहला मौका है जब नेपाल में नई सरकार के गठन के बाद वहां भारतीय प्रधानमंत्री से पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री का दौरा हो रहा है। श्री अब्बासी के दो दिवसीय दौरे पर काठमांडू पहुंचने पर उनका जोरदार स्वागत किया गया है।
श्री अब्बासी का भुवन अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा पहुंचने पर वित्त मंत्री युवराज खाटीवाडा ने उनका स्वागत किया। श्री अब्बासी पहली बार नेपाली नेतृत्व से मुलाकात करेंगें।
इस्लामाबाद में पाकिस्तान के एक विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा, प्रधानमंत्री अब्बासी यंहा से व्यापार, शिक्षा, पर्यटन, रक्षा के मुद्दों पर बात करेंगे साथ ही लोगों से संपर्क कर पारस्परिक हित के सभी क्षेत्रो को बढ़ाने के लिए प्रयास करेंगे.नेपाल की स्थानीय मीडिया के मुताबिक अब्बासी के दौरे को लेकर कुछ वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों समेत कई लोगों को चौंका दिया है।
श्री ओली के पास विदेश मांलय भी है। श्री ओली के करीबी राजन भट्टाराई ने बताया कि श्री अब्बासी के दौरे के कार्यक्रम काफी कम समय में बना जो नेपाल के साथ द्वीपक्षीय संबंधों को मजबूत करने में पाकिस्तान की आतुरता को भी दर्शाता है।
दोनों देशों ने अभीतक इस दौरे के बारे में विस्तार से खुलासा नहीं किया है लेकिन वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों के मुताबिक श्री अब्बासी के दौरे का एकमा उद्देश्य गत दो वष्रों से रूकी पड़ी सार्क की सार्क प्रक्रिया को आगे बढ़ाना और नेपाल तथा पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करना है।
काठमांडू पोस्ट के मुताबिक,नेपाल अभी सार्क का अध्यक्ष है, ऐसे में सार्क की रुकी हुई प्रक्रिया को आगे बढ़ाने में इसकी महत्वपूर्ण भूमिका है। इसलिए श्री अब्बासी इस्लामाबाद में सार्क सम्मेलन के आयोजन को लेकर श्री ओली से मदद मांग सकते हैं। इस सम्मेलन का वर्ष 2016 में आयोजन किया जाना था लेकिन उरी सेक्टर में सैन्य ठिकाने पर हमले के बाद भारत ने सम्मेलन में भाग लेने से इंकार कर दिया था। नेपाल समेत चार दक्षिण एशियाई देशों ने भी पाकिस्तान पर क्षेत्र में आतंकवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाते हुए सम्मेलन में भाग लेने से इंकार कर दिया था जिसके बाद पाकिस्तान को सार्क सम्मेलन स्थगित करना पड़ा था। अब्बासी राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी और प्रंचड समेत विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं से भी मुलाकात की।

पाक को नेपाल घास नहीं डालेगा:
अब्बासी नेपाल के दौरे पर अपनी तल्ख टिप्पणी करते हुए प्रख्यात नेपाली समाज सेवक और इकोनॉमिस्ट योग्या प्रसाद नियोप्यूने ने कहा कि पाक से नेपाल किसी सूरत में किसी प्रकार की सहानुभूति न रखता है और नहीं रखेगा। इसी में ही नेपाली जनता की भलाई है। नेपाल भारत का अभिन्य समर्थक रहा है और पाक अब अपनी कथित तौर आतांकी गतिविधियों से दुनियाभर में विरोध झेल रहा है। तो भला नेपाली प्रजा कैसे उनके प्रति सहानुभूति रख सकता है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here