धनतेरस आज, महगाई बेअसर, पूर्व संध्या पर बाजारों में दिखी रौनक

0
673

ज्ञानप्रकाश नई दिल्ली दिवाली से दो दिन पहले मनाया जाने वाला पर्व धनतेरस, सोमवार, 5 नवंबर को मनाया जाएगा। पूर्व संध्या पर राजधानी के प्रमुख बाजारों में रौनक देर रात तक देखी गई। सरोजनी नगर, करोलबाग, कनाट प्लेस, चांदनी चौक, लाजपत नगर, लक्ष्मी नगर, बदरपुर, कृष्णा नगर, विकास मार्ग, जनकपुरी, राजौरी गार्डन, टैगोर गार्डन समेत अन्य राजधानी के प्रमुख बाजारों को रविवार को भव्य तोरणद्वारों और फूल, पताकाओं से सजाया गया था। आभूषण की दूकानों, उपहार, कपड़े और मिठाईयों की दुकानों पर खरीददारों की खासी भींड रही। ऐसा लग रहा था कि महंगाई इस बार मुद्दा नहीं है।
बर्तन की दुकानदार में कई तरह के लुभावनी स्कीम भी चल रही है। कई दुकानदार सोने चांदी जडित मां लक्ष्मी की मूर्तियों को ग्राहकों को बेचने में व्यस्त रहे। लोग अपने पॉकेट के हिसाब से स्टील, पीतल, जस्ते का बर्तन खरीददारी कर रहे थे। बाजारों में चाक चौबद सुरक्षा के इंतजाम किए गए थे। लाजपतनगर एक दो तीन में प्रवेश लाइव डिटेक्टर से पुलिस कर्मी करने दे रहे थे। कनाट प्लेस, चांदनी चौक में लोगों की बढ़ती भींड के मद्देनजर लालकिला लालबत्ती पर ही वाहनों को फतेहपुरी की तरफ जाने से रोक दे रहे थे। करोल बाग फैज रोड़ पर आभूषण की खरीद के साथ ग्राहकों को दुकानदार महंगे उपहार की पेशकश की थी।
मान्यता-शुभ मुहूर्त:
कालका जी मंदिर के महंत सुरेंद्र नाथ अवधूत के अनुसार यह त्यौहार कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धन की देवी मां लक्ष्मी के प्राकट्य उत्सव के रूप में मनाया जाता है। भगवान धनवंतरी का जन्मदिवस होने के कारण इस दिन को धनवंतरी त्रयोदशी के नाम से भी जाना जाता है। इस दिन लक्ष्मी पूजा के साथ ही कुछ खरीददारी करने की भी परंपरा है। माना जाता है कि धनतेरस को खरीददारी करना शुभ होता है। इस बार धनतेरस की खरीददारी के लिए शुभ मुहूर्त 5 घंटे 33 मिनट ही है। यह मुहूर्त तीन चरणों में है जो सुबह 07:07 बजे से शाम 07:30 बजे तक रहेगा।
ऐसे करें पूजन:
पांच देवताओं, गणोश जी, मां लक्ष्मी, ब्रह्मा, विष्णु और महेश की पूजा होती है। वैसे तो धनतेरस के दिन कभी भी कुछ खरीदा जा सकता है, लेकिन खरीददारी के मुहूर्त पर ही कुछ खरीदना ज्यादा शुभ माना जाता है। तो आइए जानते हैं धनतेरस खरीददारी का मुहूर्त और पूजा:
आचार्य कृष्ण दत्त शर्मा के अनुसार इस दिन स्थिर लग्न में की गयी खरीदारी अति शुभफल दायक होती है।
त्रयोदशी तिथि में स्थिर लग्न
सुबह 07:07 से 09:15बजे तक, दोपहर 01:00 से 02:30 बजे तक, रात 05:35 से 07:30 बजे तक।
इस सममं करें लक्ष्मी पूजा:
इस दिन लक्ष्मी पूजन हेतु श्रेष्ठ मुहूर्त प्रदोष काल एवं वृष लग्न 05:35 से 07:30 बजे रात तक है। इस दिन शुक्र तुला राशि मे स्वगृही होकर मालव्य योग के साथ विद्यमान है तथा मंगल अपनी उच्च राशि मकर में विद्यमान रहेंगे, देव गुरु बृहस्पति मंगल की राशि वृश्चिक में विद्यमान होंगे जो पूर्ण शुभफल दायक होंगे और व्यापारिक वृद्धि एवं चमक धमक में वृद्धि होगी।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here