सदैव ईमानदारी, सत्यनिष्ठा, जबावदेहता और सच्चाई का पालन करें: हषर्वर्धन

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The Union Minister for Health & Family Welfare, Science & Technology and Earth Sciences, Dr. Harsh Vardhan awarding degrees to the students, at the 20th Convocation ceremony of the National Board of Examinations, in New Delhi on December 24, 2019. The Minister of State for Health and Family Welfare, Shri Ashwini Kumar Choubey and the Secretary, Ministry of Health & Family Welfare, Smt. Preeti Sudan are also seen.

ज्ञान प्रकाश नई दिल्ली , केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डा. हर्ष वर्धन ने मंगलवार को केंद्रीय राज्य मंत्री अनी कुमार चौबे की उपस्थिति में नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन के 20वें दीक्षांत समारोह की अध्यक्षता की। पाठ्यक्रम में उत्तीर्ण छात्रों को बधाई देते हुए डा. हर्ष वर्धन ने कहा आज का दिन आपकी पेशेवर और निजी यात्रा में मील का पत्थर है, इस अवसर पर मैं आपसे ईमानदारी, सत्यनिष्ठा, जबावदेहता और सच्चाई के मूल्यों को अपने जीवन में सदैव सर्वोपरि रखने का आग्रह करता हूं और ये मूल्य आपके उज्जवल मार्ग के सशक्त आधार बनेंगे।
उन्होंने कहा कि आपकी यात्रा अभी शुरू हई है और यह केवल एक पेशेवर डॉक्टर बनने में साधक नहीं रहनी चाहिए बल्कि एक अच्छे और कुशल डॉक्टर बनने में सहायक साबित होनी चाहिए। रोगियों के साथ सहानुभूति प्रदर्शित करने और उनके साथ सम्मान और गरिमा के साथ व्यवहार करना अत्यंत आवश्यक है। स्नातक चिकित्सकों को देश में स्वास्थ्य क्षेत्र को मजबूत बनाने में उल्लेखनीय योगदान देना होगा। इस मौके पर स्वास्थ्य मंत्री ने 71 विद्यार्थियों को स्वर्ण पदक प्रदान किए। जनपथ स्थित डा. अंबेडक इंटरनेशन सेंटर के सभागार में आयोजित समारोह में केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव प्रीति सूदान, अपोलो समूह के अध्यक्ष डा. प्रताप सी रेड्डी, राष्ट्रीय परीक्षा बोर्ड के अध्यक्ष डा. अभिजात सेठ तथा अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
सस्ती दर पर सबको दे स्वास्थ्य सेवाएं:
डा. हषर्वर्धन ने कहा कि माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गतिशील नेतृत्व में सरकार सभी को किफायती, गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराने के प्रति वचनबद्ध है और ऐसी सेवाएं स्वास्थ्य देखभाल के विशाल जनसंसाधन के माध्यम से जटिल और दूरदराज इलाकों तक भी पहुंचाई जाती है। चिकित्सा ढांचागत क्षेत्र में प्रगति का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि एम्स की संख्या बढ़ाकर 21 की गई है और मुख्य रूप से देश के आकांक्षी जिलों में 157 मेडिकल कॉलेज बनाने का कार्य प्रगति पर है। ऐसा इसलिए सुनिश्चत किया जा रहा है कि लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध हों। उन्होंने कहा कि चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में दूरदर्शी सुधार किए गए हैं। और स्नातकोत्तर और स्नातक की सीटों में काफी वृद्धि की गई है।

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