सुचेता कृपलानी अस्पताल में दो डॉक्टर सहित 4 नर्सिग स्टाफ कोरोना पोजिटिव

स्टाफ में भय: अस्पताल प्रशासन की यह संवेदनहीनता कहीं घातक न साबित हो जाए

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ज्ञान प्रकाश/भारत चौहान नई दिल्ली, बेशक स्वास्थ्य विभाग कोविड-19 वैरियर्स के शत प्रतिशत बचाव संबंधी गुणवत्तापूर्ण संसाधन मुहैया कराने का दावा करे लेकिन सच्चाई इसके परे है। केंद्र सरकार के सुविधाओं और बिस्तरों के मामले बड़े और प्रतिष्ठित अस्पतालों में से एक लेडी डार्डिग मेडिकल कॉलेज से संबद्ध श्रीमती सुचेता कृपलानी अस्पतालमें चौबीस घंटे में 6 नए पोजिटिव केस सामने आए हैं जिनमें दो डाक्टर सहित 4 नर्सिग स्टाफ बताए गए हैं।इन 4 सैफ में से 2 कॉन्टेक्टक्चुअल स्टाफ भी है जो दिन रात अस्पताल में अपनी सेवाएं दे रहा है.
सनद् रहे कि दो दिन पहले ही इसी अस्पताल परिसर से जुड़े कलावती शरन बाल चिकित्सालय में एक महिला डाक्टर, दो नर्सिग स्टाफ सहित तीन लोगों को कोरोना पोजिटिव पाए गए थे। मेडिकल कॉलेज से ये दोनों अस्पताल जुड़े हैं। जानकारी के अनुसार अब तक यहां पर 22 लोगों को होम क्वारंटीन में रखा गया है।
इस खबर की जानकारी अस्पताल के सूत्रों से मिलने के बाद जो जानकारी सामने आयी है वो बेहद चौकाने वाली है सूत्रों का कहना है की अस्पताल प्रसाशन मेडिकल स्टाफ के बारे में कतई चिंता नहीं कर रहा है उन्हें न तो PPE किट ही उपलब्ध करवाई जा रही और न ही अन्य कोई सुविधाएं सिर्फ मास्क और सेनेटाइजर में बलबूते उन्हें छोड़ दिया गया है
इन लोगो का कहना है की जब देश की राजधानी के अस्पताल में ये हाल है तो बाकि अस्पतालों का क्या हाल होगा
इस बारे में अस्पताल के इस बारे में अस्पताल के चिकित्सा निदेशक डा. अतुल माथुर ने बताया कि बचाव के लिए हर स्तर पर हम स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशा निर्देशों का पालन कर रहे हैं। उधर, यहां के डाक्टर और पैरामेडिकल स्टाफ उनके इस दावे से इत्तेफाक नहीं रखते हैं उनका उन्होंने सभी आरोपों को नाकारा दिया है

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