दिल्ली दंगों के मुख्य आरोपी ताहिर हुसैन व उसके गैंग की चार्जशीट को केजरीवाल सरकार ने दबाया दिल्ली पुलिस को नहीं दी अभी तक मंजूरी

चार्जशीट को दिल्ली सरकार के पास मंजूरी के लिए भेजा गया है, लेकिन दिल्ली सरकार फाइल को दबाकर बैठी हुई है-आदेश गुप्ता

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भारत चौहान नई दिल्ली, दिल्ली सरकार का देश विरोधी चेहरा एक बार फिर दिल्ली की जनता के सामने आ चुका है। दिल्ली दंगों को लेकर दिल्ली पुलिस की ओर से चार्जशीट दाखिल हो चुकी है, लेकिन दिल्ली सरकार इस चार्जशीट को दबाए बैठी है और अभी तक मंजूरी नहीं दी है। इसको लेकर दिल्ली भाजपा अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने केजरीवाल सरकार पर हल्ला बोला है। उन्होंने कहा कि दिल्ली की जनता इस बात से भलीभांति परिचित हैं कि ताहिर हुसैन आम आदमी पार्टी का पार्षद था। ऐसे में दिल्ली सरकार चार्जशीट को मंजूरी देने में देरी कर ताहिर हुसैन और उसकी गैंग को बचाने की कोशिश कर रही है।

गुप्ता ने कहा कि कोर्ट ने सुनवाई के दौरान माना है कि पूर्वी दिल्ली में हुए दंगों को मुख्य आरोपी ताहिर हुसैन ही था और उसके घर की छत पर हथियार, ईंट-पत्थर, पेट्रोल बम बरामद किए गए थे, जिससे यह जाहिर होता है कि सुनियोजित योजना के साथ इन दंगों को भड़कायागया था। ताहिर हुसैन ने ही मुस्लिम समाज के लोगों को इक्ट्ठा किया और उन्हे भड़काया जिसके कारण भीड़ ने स्थानीय लोगों और उनके घरों व दुकानों को नुकसान पहुंचाया। इतना ही नहीं पूरी योजना के साथ ही इंटीलिजेंस ब्यूरों में कार्यरत अंकित शर्मा की निर्मम हत्या कर दी गई।

श्री गुप्ता ने कहा ताहिर हुसैन दंगों के दौरान आम आदमी पार्टी के तमाम बड़े नेताओं के संपर्क में था, जिससे साफ है कि इस दंगे में आम आदमी पार्टी का भी हाथ था। पुलिस की ओर से 22 जून को ही फाइल दिल्ली सरकार को दे दी गई थी, लेकिन अभी तक उसे मंजूरी नहीं दी गई है। यह दर्शाता है कि दिल्ली सरकार दंगे आरोपियों को समर्थन दे रही है।

श्री गुप्ता ने कहा कि इससे पहले जेएनयू में लगे देश विरोधी नारों के मामले में भी दिल्ली सरकार ने चार्जशीट को मंजूरी देने में लंबा समय लिया था। समझने वाली बात यह है कि जब भी दंगे के आरोपी और देश विरोधियों को सजा दिलाने की बारी आती है उस समय दिल्ली सरकार अड़ंगा लगा देती है। ऐसे में यह सवाल उठता है कि क्या दिल्ली सरकार देश विरोधियों का समर्थन करती है? अगर ऐसा है तो दिल्ली सुरक्षित हाथों में नहीं है।

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