अमेरिका में निष्कासित छात्र ने स्कूल में गोलीबारी की, 17 लोगों की मौत

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भारत चौहान
वाशिंगटन, 15 फरवरी। अमेरिका में फ्लोरिडा के एक हाई स्कूल में एक निष्कासित छात्र ने शक्तिशाली राइफल से अंधाधुंध गोलीबारी की जिसमें कम से कम 17 लोगों की मौत हो गई और 15 अन्य लोग घायल हो गए। घायलों में एक भारतीय अमेरिकी छात्र भी शामिल है।
यह अमेरिका के इतिहास में गोलीबारी की सबसे घातक घटनाओं में से एक है।
संदिग्ध की शिनाख्त 19 वर्षीय निकोलस वूज के तौर पर हुई है। वह पार्कलैंड के मारजोरी स्टोनमैन डगलस हाई स्कूल का पूर्व छात्र है। उसे अनुशासन से संबंधित कारणों के लिए निष्कासित किया गया था। उसे घटना के बाद कल गिरफ्तार कर लिया गया।
स्कूल में बडी संख्या में भारतीय अमेरिकी समुदाय के छात्र पढते हैं और इनमें से कम से कम एक छात्र इस गोलीबारी में मामूली रूप से घायल हुआ है।
नौवीं कक्षा में पढने वाले इस छात्र का इलाज अस्पताल में चल रहा है।
अधिकारियों ने बताया कि वूज समस्याग्रस्त किशोर है जिसने गोलीबारी की वारदात को अंजाम देने से पहले सोशल मीडिया पर परेशान करने वाली चीजे पोस्ट की थीं।
ब्रोवार्ड काउंटी शेरिफ स्कॉट इसाइल ने कहा, ‘‘यह पार्कलैंड के लिए भयानक दिन है।’’ पार्कलैंड शहर उत्तर मियामी से 80 किलोमीटर दूर स्थित है और शहर की आबादी लगभग 30,000 है।
फ्लोरिडा में एक संवाददाता सम्मेलन में इसाइल ने बताया, ‘‘निकोलस वूज हत्यारा है। वह हिरासत में है। हमने उसकी वेबसाइट और सोशल मीडिया की छानबीन शुरू कर दी है.. कुछ बातें जो दिमाग में आ रही हैं, बहुत परेशान करने वाली हैं।’’
सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक जांचकर्ताओं ने बताया कि वूज ने लोगों को क्लासरूम से बाहर निकालने के लिए फायर अलार्म बजाया ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों को अपना शिकार बना सके।
इसाइल ने बताया कि वूज को अनुशासन संबंधी कारणों के चलते स्कूल से निष्कासित किया गया था।
उन्होंने कहा, ‘‘ मुझे सटीक कारण पता नहीं है।’’
बहरहाल, मीडिया रिपोटरें के मुताबिक, वूज ने पिछले साल अपनी पूर्व प्रेमिका के नए प्रेमी से झगडा किया था जिसके बाद उसे स्कूल से निकाल दिया गया था।
इसाइल ने कहा कि गोलीबारी पहले स्कूल के बाहर की गई। फिर अंदर भी गोलीबारी जारी रखी गई, जहां 12 लोग मारे गए।
उन्होंने कहा कि सभी पीडतिों की पहचान हो गई है, लेकिन अभी किसी की पहचान उजागर नहीं की गई है।
इसाइल ने हालांकि पीडति छात्रों की संख्या की पुष्टि नहीं की।
अधिकारियों ने बताया कि कई घायलों का इलाज अस्पताल में चल रहा है। उनमें से तीन की हालत नाजुक है।
प्रांतीय और संघीय अधिकारियों ने कई घंटों तक वूज से पूछताछ की।
शेखर रेड्डी ने कहा, ‘‘ यह देश और समुदाय के लिए दुखद दिन है। हम सब पीडतिों के लिए दुआएं कर रहे हैं।’’
इस गोलीबारी की वारदात में रेड्डी के दोस्त का बेटा घायल हुआ है।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2012 में कनेक्टीकट स्कूल सैंडी हुक में हुई गोलीबारी में 26 लोग मारे गये थे।
एफबीआई छानबीन में स्थानीय अधिकारियों की मदद कर रही है। संघीय और स्थानीय अधिकारियों ने एनबीसी न्यूज को बताया कि इस बात का कोई संकेत नहीं मिलता कि बंदूकधारी का कोई साथी था।
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हताहतों के परिवारों के लिए प्रार्थना की और संवेदनाएं व्यक्त कीं।
ट्रंप ने ट्वीट किया, ‘‘ फ्लोरिडा की गोलीबारी की घटना में हताहत हुए परिवारों के लिए मेरी प्रार्थनाएं और संवेदनाएं। अमेरिका के किसी स्कूल में किसी भी बच्चे, शिक्षक या किसी अन्य को कभी भी असुरक्षित महसूस नहीं करना चाहिए।’’
गोलीबारी की इस घटना के बाद अमेरिका में बंदूकों पर नियंतण्रकिये जाने को लेकर फिर से बहस शुरू हो गई है।
फ्लोरिडा के सीनेटर चेरिस मर्फी ने दक्षिण फ्लोरिडा के हाई स्कूल में हुई इस घटना को एक ‘‘भयावह’’ बताया।

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