डॉ हर्षवर्धन ने कोविड-19 प्रबंधन की समीक्षा के लिए लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज अस्पताल का दौरा किया

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भारत चौहान नई दिल्ली, नई दिल्ली, केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ हर्षवर्धन ने आज रविवार को दिल्ली के लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज का दौरा कर कोविड-19 प्रबंधन की स्थिति का निरिक्षण और वर्तमान स्थिति की समीक्षा की। यह अस्पताल भारत के सबसे पुराने और स्थापित मेडिकल कॉलेज में से एक है। उभरती आवश्यकताओं को देखते हुए लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज (एलएचएमसी) और सम्बद्ध अस्पतालों श्रीमती सुचेता कृपलानी अस्पताल और कलावती सारण चिल्ड्रन्स अस्पताल कोविड-19 अस्पताल के रूप में कार्य कर रहे है। 30-30 पलंगों की क्षमता वाले इन अस्पतालों में पर्याप्त संख्या में आइसोलेशन वार्ड और अन्य सुविधाएं भी उपलबध हैं।

निरीक्षण की शुरुआत से पहले, अस्पताल के निदेशक डॉ (प्रो) एनएन माथुर ने केंद्रीय मंत्री को कोविड -19 रोगियों के साथ-साथ एसोसिएटेड अस्पतालों में उपलब्ध सुविधाओं के बारे में विस्तृत जानकारी दी और अस्पताल में भर्ती रोगियों की वर्तमान स्थिति के बारे में अवगत कराया । यह भी बताया गया कि समर्पित अस्पताल में 24 आइसोलेशन बेड और 5 आई सी यू बेड और प्रत्येक अस्पताल में क्रमशः 40 और 41 बेड वाले संदिग्ध रोगियों के लिए सुविधाओं की पहचान की गई थी। निरीक्षण के दौरान केंद्रीय मंत्री ने अस्पताल के आपातकालीन वार्ड, ओपीडी वार्ड, नमूना संग्रहण केंद्र , कोविड ब्लॉक के आदि महत्वपूर्ण क्षेत्रों का दौरा किया और डॉक्टरों और स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के लिए उपलब्ध सुविधाओ की जानकारी ली । वह इस बात पर संतुष्ट थे कि नमूना संग्रह सुविधा प्राप्त करने वाले डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मचारियों को ऑन्कोलॉजी भवन में स्वयं को कीटाणुरहित रखने के लिए विशेष स्नान कक्ष, चेंजिंग रूम और स्प्रे आदि सुविधा प्रदान की जा रही हैं ।

केंद्रीय मंत्री को स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को प्रदान की जा रही बोर्डिंग और लॉजिंग की सुविधा के बारे में भी बताया गया, जो उन्हें आवागमन की समस्या और उनके परिवारों के संपर्क को रोकने के लिए अस्पताल के पास बहुत कम दूरी पर कुछ होटलों में प्रदान की जा रही है। उन्हें वाईएमसीए बिल्डिंग के बारे में भी बताया गया था, जिसे एलएचएमसी के डॉक्टरों और नर्सों द्वारा प्रबंधित कोविड केयर सेंटर में बदल दिया गया है और इस समय यहाँ 70 मरीज हैं जो कि अस्थमा ग्रसित कोविड पॉजिटिव हैं साथ ही इसमें एलएचएमसी के वे स्वास्थ्य देखभाल कर्मी भी शामिल हैं जो अपने कर्तव्य के निर्वहन के दौरान पॉजिटिव हुए हैं।

एलएचएमसी के कोविड ब्लॉक में केंद्रीय मंत्री ने रोगियों का इलाज करते हुए संक्रमित होने वाले डॉक्टरों और स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं से वीडियो कॉल के माध्यम से बात की । उन्होंने कहा कि “मुझे यह जानकर खुशी हुई कि अस्तपताल में भर्ती वे सभी डॉक्टर और स्वास्थ्य कार्यकर्ता स्वस्थ और प्रसन्न हैं और अस्पताल में उनकी अच्छी तरह से देखभाल हो रही हैं। कोविड से पीड़ित होने के बावजूद उनका मनोबल ऊँचा देख कर बहुत ख़ुशी और उत्साह महसूस हो रहा है।”

अस्पताल के विभिन्न वार्डों और परिसरों की विस्तृत समीक्षा और निरीक्षण के बाद, उन्होंने विभिन्न इकाइयों के कामकाज पर संतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा: “पिछले कुछ दिनों में, मैं दिल्ली के विभिन्न अस्पतालों एम्स, एलएनजेपी, आरएमएल, सफदरजंग, राजीव गांधी सुपर स्पेशियलिटी एम्स झज्जर और अब एलएचएमसी का दौरा कर रहा हूं, ताकि सीओवीआईडी-19 की तैयारियों की समीक्षा के साथ ही अग्रिम पंक्ति के इन योद्धाओं की हौसला अफजाई की जा सके और मैं कोरोना वायरस के प्रकोप से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए इन अस्पतालों द्वारा की गई व्यवस्थाओ से संतुष्ट हूं।”

डॉ.हर्षवर्धन ने कोविड-19 से निपटने में नर्सों, डॉक्टरों और अन्य स्वास्थ्य कर्मियों जैसे अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं द्वारा दिखाए गए परिश्रम,कड़ी मेहनत, समर्पण और प्रतिबद्धता के लिए की सराहना करते हुए,कहा कि “कोविड -19 रोगियों की रिकवरी दर है लगातार वृद्धि हुई है जिससे पता चलता है कि इनमें से अधिक से अधिक मरीज बेहतर हो रहे हैं और स्वस्थ होकर अपने घरों में वापस जा रहे हैं। अब तक लगभग 10,000 कोविड रोगी पुनः स्वस्थ होकर सामान्य जीवन में लौटे हैं। यह भारत में हमारे अग्रिम पंक्ति के स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं द्वारा प्रदान की जाने वाली देखभाल सुविधाओं और क्षमताओं की गुणवत्ता को दर्शाता है। मैं उनकी सफलता केलिए उन्हें बधाई देता हूं। ऐसे कठिन समय में उनकी इन असाधारण सेवाओं के लिए देश आभारी है। परीक्षा की इस घडी में हमारे स्वास्थ्य योद्धाओं का उच्च मनोबल देखना हार्दिक प्रसन्नता है। ”

डॉ.हर्षवर्धन ने यह भी कहा कि देश में कोविड -19 की रोकथामऔर प्रबंधन की नियमित रूप से राज्यों के साथ उच्चतम स्तर पर निगरानी की जा रही है। उन्होंने कहा, “नए मामलों की वृद्धि दर भी कुछ समय के लिए स्थिर रही है। आज प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, पिछले तीन दिनों में संक्रमित रोगियों के दोहरीकरण दर 12 प्रतिशत है जब की पिछले सात दिनों में यह 11.7 प्रतिशत और 14 दिनों में 10.4 प्रतिशत थी । ” उन्होंने कहा “हमें लॉकडाउन 3.0 को तार्किक और सुखद अंत तक लेने जाने के लिए हाथों और शारीरिक स्वच्छता के बुनियादी शिष्टाचार का सख्त पालन करने की आवश्यकता है।”

उन्होंने कहा कि देश में 130 हॉटस्पॉट, 284 गैर-हॉटस्पॉट और 319 गैर-संक्रमित जिले हैं। “हम अपने दुश्मन की ताकत एवं संख्या के बारे में जानते हैं और हम इसके स्थान को भी जानते हैं और यह हमारे लोहे जैसे हाथों और इरादों से व्यवस्थित रूप से निपटा जाएगा।”

उन्होंने बताया कि देश के संक्रमित जिलों को हरे, नारंगी और लाल क्षेत्रों में विभाजित किया गया है और भारत सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुसार उन्हें क्रमशः खोला जाएगा।

उन्होंने कहा, “हमने अब तक 10 लाख से अधिक परीक्षण किए हैं और वर्तमान में एक दिन में 74,000 से अधिक परीक्षण कर रहे हैं।” उन्होंने आगे कहा कि सरकार ने पूरे भारत में लगभग 20 लाख पीपीई किट वितरित किए हैं और दुनिया भर में 100 से अधिक देशों में एच सी क्यू और पेरासिटामोल दवाओ की आपूर्ति की है। उन्होंने बताया कि भारत दुनिया के अन्य देशों की तुलना में बेहतर स्थिति में है और पूरे देश में कोविड समर्पित अस्पतालों और समर्पित स्वास्थ्य केंद्रों में 2.5 लाख से अधिक पलंगों के साथ किसी भी स्थिति का सामना करने में सक्षम है।

उन्होंने देश के विभिन्न भागों में फंसे हुए प्रवासी कामगारों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, “सरकार के दिशा निर्देशों के अनुसार, प्रवासी लोगों को पूरी सावधानी बरतने और शारीरिक दूरी का पालन करते हुए बसों और ट्रेनों से अपने घरों को लौटने में पूरी मदद की जा रही है।”

केंद्रीय मंत्री ने विभिन्न आर्थिक और व्यावसायिक गतिविधियों को खोलने के बारे में बात करते हुए कहा, “धीरे-धीरे और धीरे-धीरे आर्थिक गतिविधियों को एक-एक करके खोला जाएगा। इसके लिए विस्तृत योजना है, जिसके अनुसार दवा, फार्मास्यूटिकल्सआदि जैसे विभिन्न उद्योगों को जल्द से जल्द सामान्य स्थिति में वापस लाने में सहायता की जा रही है। ”

डॉ हर्षवर्धन ने देशवासियों से लॉकडाउन 3.0 की 17 मई, 2020 तक विस्तारित अवधि का उसकी भावना के अनुरूप पालन करने और कोविड -19 के फैलाव की श्रृंखला में तोड़ने के लिए एक प्रभावी अवसर के रूप में व्यवहार करने का आग्रह किया। उन्होंरे कहा कि “हाथ की स्वच्छता को जारी रखना महत्वपूर्ण है, जैसे साबुन और पानी से हाथ धोना या सैनिटाइज़र का उपयोग करना; कीटाणुरहित और सभी द्वारा अक्सर छुयी जाने वाली सतहों को नियमित रूप से साफ करने के साथ ही हर किसी को उचित ठंग से मास्क या फेस कवर पहनना और शारीरिक दूरी बनाए रखने के साथ ही जोखिम के स्व-मूल्यांकन के लिए कोरोना ट्रैकर ऐप “आरोग्यसेतु” डाउनलोड करना चाहिए । ” उन्होंने कहा कि लॉकडाउन 3.0 के दौरान दिन-प्रतिदिन के जीवन में अनुशासन रखने से हमें कोविड -19 के खिलाफ जंग को निर्णायक ढंग से मोड़ने में सफलता मिलने के साथ ही स्वस्थ भारत का समृद्ध लाभांश मिलेगा। “हम सफलता की राह पर हैं और हमें विश्वास है कि हम कोविड -19 के खिलाफ इस युद्ध को जीतेंगे।”

उन्होंने देशवासियों से आग्रह किया कि वे कोविड -19 रोगियों का इलाज करने वाले डॉक्टरों का सम्मान करे,अपमानित न करें और उन रोगियों को भी कलंकित न करें जिन्होंने कोविड -19 के खिलाफ लड़ाई जीती है। उन्होंने कहा “वे हमारे नायक हैं और उन्हें उनके योग्य स्वागत सम्मान देने की आवश्यकता है।” उन्होंने कहा कि “आज भारतीय वायु सेना ने पूरे देश में इन योद्धाओं को हेलीकॉप्टरों के माध्यम से फूलों की पंखुड़ियों से छिड़क कर उनके प्रति सम्मान व्यक्त करते हुए उनके अतुलनीय योगदान को स्वीकारा है।” उन्होंने कहा कि “कोविड के विरुद्ध भारत की लड़ाई की सराहना न केवल विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ ) ने की बल्कि पूरे विश्व ने एकजुट होकर की है।”

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